दुनिया में बहुत बड़े-बड़े और अनोखे मेले लगते हैं, जिसमें कुंभ मेला सोनपुर मेला और भी कई प्रकार के मेले पर्यटन और आस्था के केंद्र बनते हैं। लेकिन क्या आपने कभी भूतों का मेला सुना, अगर नहीं सुना है तो आज हम आपको एक ऐसे मेले के बारे में बताने जा रहे हैं जिसे भूतों का मेला कहा जाता है।
इस मेले में आस्था से जुड़ी कई अनुष्ठान की अनोखी तस्वीर रात में नदी में झूमते तांत्रिक इंसानी नरमुंड लेकर अंधविश्वास का अनुष्ठान करते आपको दिखेंगे।
दरअसल कार्तिक पूर्णिमा के मौके पर कोनहारा घाट पर दुनिया का सबसे बड़ा भूतों का मेला लगता है। श्मशान घाट पर बड़े हुमन का जाप और आस्था अंधविश्वास के साथ बड़ा खेल का प्रत्यक्ष वीडियो आप देख रहे हैं। इस मेले में मौजूद तांत्रिकों का दावा है कि बिना दवा के मरीज सिर्फ अनुष्ठान करने पर स्वस्थ हो जाएंगे। यहां तक कि अकाल मृत्यु से मौत और बुरी आत्माओं की सिद्धि के साथ पागल व्यक्तियों को भी ठीक किया जाता है। इस प्रकार तांत्रिकों से से भरी इस मेले में लोगों की अनेकों अंधविश्वास जुड़ी है । इस मेले के बारे में कहा गया है कि यहां भगवान विष्णु खुद अवतरित होते हैं। आस्था और अंधविश्वास की तस्वीर कहीं और की नहीं हाजीपुर के कौनहारा घाट की है। जहां रात में नदी में झूमते तांत्रिक भूतों के साथ खेलते नजर आते है शायद इसलिए इसे भूतों का मेला कहा जाता है।